चीनी जूम की धुन पर झूम रही बीजेपी
गृह मंत्रालय महीनों से चीनी जूम एप से लोगों को आगाह कर रहा है। यह एप विश्वसनीय नही हैं। इसके इस्तेमाल से आपका डाटा सुरक्»
गृह मंत्रालय महीनों से चीनी जूम एप से लोगों को आगाह कर रहा है। यह एप विश्वसनीय नही हैं। इसके इस्तेमाल से आपका डाटा सुरक्»
तबलीगी जमात और इस्लामी इतिहास के सारे विवरण यही दिखाते हैं कि आज स्थितियां बदल गई हैं, मगर इरादा वही है। काफिरी और काफिर»
विश्व में कोरोना वायरस का संक्रमण चीन से हुआ है। लेकिन उसका सबसे घातक प्रभाव अमेरिका और यूरोप के सबसे समृद्ध देशों पर पड़»
मज़दूरों के व्यथा की गवाह बनी सड़कें। उनके दुख – दर्द से भरे दारुण कथा को बयाँ कर रही थी। हाड़ तोड़ खटने के बाद भी»
चीन से संक्रमित हुए कोरोना वायरस ने पूरी दुनिया में उथल पुथल मचा दी है। दुनियाभर में कामकाज ठप्प है, स्कूल कॉलेज बंद हैं»
मिर्जा गालिब ने कहा था, ‘‘वो अपनी खू न छोड़ेंगे, हम अपनी वज’अ क्यों छोड़ें…’’। सचमुच, जब दुनिया अभूतपूर्व रोग से»
कोरोना के साथ-साथ कम्युनिस्ट विचार भी किसी सभ्य राष्ट्र और समाज के लिए खतरनाक है। इस विचार के भारतीय वाहक इसकी गवाही चीख»
सर्वोच्च न्यायालय के निर्णय के बाद अब राम जन्मभूमि पर एक भव्य मंदिर निर्माण का मार्ग प्रशस्त हो गया है। सब जानते हैं कि»
25 जून 1975 ,जब लोकतंत्र का गला घोट दिया गया था | वाकया शुरू होता है ,1971 के चुनाव से सोशलिस्ट पार्टी के नेता रा»
चुनावी नतीजों के बाद से यह सवाल उठने लगा है कि क्या वंशवादी राजनीति का अंत हो रहा है? सवाल मुनासिब है, इस चुनाव में मतदा»
त्रेतायुग के बाद पिछले बरस की तरह इस बार भी दीवाली ऐसी रही कि अयोध्या निहाल हो उठी। इतिहास करवट ले रहा था। काल का पहिया »
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को इस बात का श्रेय दिया जाना चाहिए कि उन्होंने अपने आपको दूसरे प्रधानमंत्रियों की तरह केवल राज»
गांधी जी की पत्रकारिता को समझाने वाली पुस्तक ‘गांधी की पत्रकारिता’ छप कर आ गई है। इसे प्रज्ञा संस्थान के लोकनीति केन्द्र»
त्रेतायुग के विश्वामित्र ने अयोध्या को जनकपुर से मिलाया। अयोध्या और जनकपुर के बीच संबंधों की डोर बांधी। मर्यादा पुरुषोत्»
भारत के बारे में कार्ल मार्क्स की जानकारी बहुत सतही थी। अपने जीविकोपार्जन के लिए कार्ल मार्क्स ने अमेरिकी अखबारों के लिए»
शांत सरोवर में ‘कमल’ खिलता है। जो परिवार, समाज और देश अशांत है, वहां विकास की बदरंग तस्वीरे है। अल्पसंख्यकों के बीच बोहर»
रामनाथ गोयनका के निधन से इंडियन एक्सप्रेस समूह पर ग्रहण लग गया। ऐसा हो ही नहीं सकता था कि जनसत्ता उससे अछूता रहे।»
पानी गिर रहा था। बहुत पानी गिर रहा था। बारिश की ये बूंदे उनके आंनद को चरम की ओर ले जा रही थी। ये ‘नई उम्र की नई फसल’ थी»
माओवाद से प्रेरित चारू मजूमदार ने 22 अप्रैल 1969 को जिस नक्सली संगठन की घोषणा की थी उसका नाम भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी(मा»